Umar Ansari: हाईकोर्ट ने मुख्तार के बेटे उमर पर लटकाई गिरफ्तारी की तलवार, बचने का है सिर्फ ये एक रास्ता। 3 नवंबर को हाईकोर्ट ने उमर अंसारी के लिए अंतरिम अग्रिम जमानत को मंजूरी दी थी. उमर अंसारी के वकील उपेंद्र कुमार उपाध्याय ने अदालत में पेश की गई तर्कों को कोर्ट ने स्वीकृत नहीं किया, जिससे माफिया डॉन मुख्तार अंसारी के बेटे को इलाहाबाद हाईकोर्ट में एक बड़ी प्रहार मिली है. हाईकोर्ट ने उमर अंसारी की अग्रिम जमानत अर्जी को खारिज कर दिया है, और इस पर फैसला 30 नवंबर को हुआ था।
हाईकोर्ट ने गिरफ्तारी को रोक लगा दिया था जब तक फैसला सुना नहीं जाता. अग्रिम जमानत अर्जी की खारिज होने के बाद, अब पुलिस को उमर अंसारी को गिरफ्तार करने का अधिकार है.पहले ही हाईकोर्ट ने 3 नवंबर को उमर अंसारी की अंतरिम अग्रिम जमानत को मंजूरी दी थी, लेकिन उमर अंसारी के वकील उपेंद्र कुमार उपाध्याय द्वारा पेश की गई दलीलें कोर्ट ने स्वीकृत नहीं किया था. उनके अनुसार, मुकदमा राजनीतिक कारणों से दर्ज किया गया था।
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क्या है Umar Ansari का मामला
मऊ के क्षेत्र में, विधानसभा चुनाव के समय विवादास्पद बयान देने के आरोप में कोतवाली में मुकदमा दर्ज किया गया है। चुनाव के बाद, एक मंच से प्रशासन को सीधे कार्रवाई करने की धमकी मिली थी, जिसके परिणामस्वरूप कोतवाली में मुकदमा दर्ज किया गया है। इस मामले में उमर अंसारी फरार हैं, जबकि उनके बड़े भाई विधायक अब्बास अंसारी को पहली अग्रिम जमानत मिली है, परंतु दूसरी अर्जी खारिज कर दी गई है। अब उमर अंसारी को सुप्रीम कोर्ट में अर्जी दाखिल करने का विकल्प है।